🌾 किन सब्जियों में प्रोटीन कम पाया जाता है ?

किन सब्जियों में प्रोटीन कम पाया जाता है ?

भारतीय संस्कृती और भारतीय खाने में हमेशा कही प्रकार नजर आते है। बाहर के देशों में येक जैसी ही संस्कृती,धर्म और खाना सभी जगह नजर आता है। भारत विविधता में एकता दिखाता है। हमारे देश में अलग–अलग राज्य है तथा उनका खाना भी अलग है। पुरे विश्व में भारत ही ऐसा देश है जहां सबसे ज्यादा बारिश,धूप,ठंड और बर्फ देखी जाती है। हमारे देश में येक तरफ समंदर भी है,रेगिस्थान का इलाका भी है। इस तरह के विविधता के कारण लोगों का जीवन भी अलग हुआ है। कुछ लोगों का धंधा मछलियों को पकड़कर बेचना है,तो कुछ लोगों का धंधा खेती करना है। सभी लोगों के काम क्षेत्र के अनुसार अलग–अलग है। 

भारत में जिस तरह से आबादी बढ़ रही है वैसे ही खाने की समस्या और प्रदूषण भी बढ़ रहा है। भारत में कही सारे वर्ग है जैसे अमीर,मध्यम और सबसे गरीब वर्ग। अमीर वर्ग और मध्यम वर्ग के लोगों के पास खाने के लिए बहोत उपलब्धि होती है। गरीब वर्ग के लिए अपना पेट भरना मुस्किल होता है। इस बात को देखते हुए भारत सरकार कही अच्छे कदम उठा रही है। भारत सरकार ने खेतों में उन्नति और हरितक्रांति का सबसे ज्यादा विकास किया। हर रोज हम जो भी सब्जियां खाते उसमे प्रोटीन की मात्रा बढ़ाई है। प्रोटीन खाने में ज्यादा करने के कारण गरीबों की समस्या तो मिट गई। समय के अनुसार बीमारियों के कारण हमे अब कम प्रोटीन वाले पदार्थ खाने पड रहे है। आज में आपको कुछ चीजें बताऊंगा जिसमे बहोत कम प्रोटीन पाया जाता है।

ज्यादा प्रोटीन खाने की वजह से किडनी कही बार दिक्कतें देती है। किडनी के वजह से भी हमे कम प्रोटीन वाले पदार्थ खाने पड रहे है। किडनी पेशेंट चावल को खा सकते है। चावल में कम प्रोटीन होता है। गाजर जो की शरीर में RBCs की संख्या बढ़ाने में हेल्प करता है उसमे भी कम प्रोटीन होता है। हर सौ ग्राम गाजर में 1.1 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। कद्दू खाने का भारतीय लोगों का ज्यादा मन नही करता है। कद्दू में भी कम प्रोटीन पाया जाता है। सौ ग्राम कद्दू में साधारणतः 1 ग्राम प्रोटीन होता है। महाराष्ट्रा में ज्यादातर लोगों को मूली की सब्जी मालूम होती ही है। मूली में विटामिन सी अधिक होता है। मूली को खाने के कही आयुर्वेदिक लाभ है। मूली में पानी की मात्रा अधिक होती है। हर सौ ग्राम मूली की सब्जी में 0.7 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है जो की बहोत कम है। मूली पचने में दिक्कत भी कर सकती है इस कारण उसे उबालकर खाया जाएं तो अच्छा है।

खीरे की टेस्ट खराब हो सकती है,पर उसके कही सारे आयुर्वेदिक फायदे है। भारत में हर येक घर में खीरा जरूर मौजूद होता है। खीरे को खाने से शरीर के उपर आएं दाग और धब्बे कम हो जाते है। सौ ग्राम खीरे से हमे 1.3 ग्राम प्रोटीन मिलता है। खीरा ठंड माना जाता है इस करण हरे खीरे को स्किन के उपचार के लिए लिया जाता है। रात में खीरे को न खाए क्यों की वह सही से पाचन नही होता है। सबसे कम प्रोटीन वाले पदार्थों में पत्तागोबी का समावेश भी होता है। पत्तागोभी आज के समय सभी लोगों को पता है,क्यों की आज के समय चाइनीज का जमाना आ गया है। चाइनीज और मंचूरियन यह पत्ता गोबी से ही बनाएं जाते है। पत्ता गोबी आंख,वजन और अल्सर के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद है। 

ज्यादातर सब्जियों की तुलना में लोगों को पत्तागोबी खाने में कही बार आती है। पत्तागोबी सलाद में भी हमे दिखती है और भजियों में भी दिखती है। ज्यादा बाल झड़ने लगें तो पत्ता गोबी को खाना सबसे उचित है। पत्तागोबी में हर सौ ग्राम में 1.4 ग्राम प्रोटीन पाया जाता है। डायट और हर्ट के जो भी पेशेंट होते है उनको कम ऑइल और कम मैदे वालें पदार्थ ही खाने होते है। ज्यादा प्रोटीन खाने से शरीर बढ़ता है पर कही लोगों में किडनी अक्सर दिक्कत तयार करती है। आयुर्वेद में ज्यादातर रोगों के उपाय मौजूद होते है। आयुर्वेद के अनुसार प्याज़ और हरी मिर्च इनके अंदर भी प्रोटीन की मात्रा कम होती है। भारत में तो सभी डॉक्टर्स प्रोटीन को ज्यादा खाने के लिए ही कहते है। अमरीका जैसे देशों में जब खाने की वजह से कही बीमारियां पैदा होने लगीं थी,तब खाने में प्रोटीन ज्यादा होने के कारण भी कुछ लोगों को बीमारियां हो रही थी।

मैने आपको कही सारी सब्जियां बताई है जिनमे प्रोटीन कम पाया जाता है। आपका कोई भी प्रश्न हो हमे कमेंट करके जरूर बताएं। लिखा हुआ अच्छा लगा हो तो अपने दोस्तों के साथ इसे शेयर कर सकते है। 






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